पिता बीमार हुए, छोड़ दी नौकरी, 24 घंटे में 81 सर्टिफिकेट का बनाया वर्ल्ड रिकॉर्ड
मशहूर शायर और कवि दुष्यंत कुमार की पंक्ति है- ‘कौन कहता है आसमां में सुराख नहीं हो सकता, एक पत्थर तो तबीयत से उछालो यारों।’ आज की प्रेरक कहानी में भारत की एक ऐसी बेटी का बयां है जिसने महज 25 साल की आयु में वर्ल्ड रिकॉर्ड कायम किया है। भारत की इस युवा बेटी ने साबित किया है कि संकल्प से कुछ भी हासिल किया जा सकता है। केरल की रहने वाली रेहना शाहजहां की सक्सेस स्टोरी का दिलचस्प पहलू ये भी है कि उन्हें प्रेरणा अपनी छोटी बहन से मिली। करियर की पीक पर लाखों की नौकरी छोड़ने का फैसला आसान नहीं होता, लेकिन पिता की सर्जरी के बाद रेहना ने नौकरी छोड़ दी। वे बताती हैं कि फैमिली उनकी पहली प्राथमिकता है। परिवार सपोर्ट सिस्टम है। जानिए रेहना शाहजहां की कामयाबी की कहानी
24 घंटे में 81 सर्टिफिकेट: 24 घंटे में 81 सर्टिफिकेट हासिल कर केरल की युवती ने दुनियाभर में अपने साथ-साथ भारत का परचम लहराया है। दुनियाभर के लोगों के सामने केरल की रेहना शाहजहां ने कुछ ऐसा कर दिखाया, जिसे सुनकर रोमांच होता है। 24 घंटे में 81 सर्टिफिकेट के मायने गणित के हिसाब से देखें तो रेहना ने औसत हर मिनट में तीन से अधिक सर्टिफिकेट हासिल किए।
आधे अंक के कारण नहीं मिला एडमिशन: केरल के कोट्टायम में रहने वाली रेहना शाहजहां जामिया मिल्लिया इस्लामिया में कॉमर्स स्ट्रीम से मास्टर्स (एमकॉम) की डिग्री हासिल करने का ख्वाब देख रही थीं। हालांकि, किस्मत को कुछ और मंजूर था। आधे अंक के कारण सीट से वंचित रह गईं रेहना शाहजहां को निराशा तो बहुत हुई लेकिन उन्होंने हिम्मत नहीं हारी। 25 वर्षीय रेहना ने पोस्ट ग्रैजुएशन के दो पाठ्यक्रमों के लिए ऑनलाइन एडमिशन लिया। Social Work में मास्टर्स के लिए अप्लाई करने के साथ-साथ रेहना ने Diploma in Guidance and Counselling के पाठ्यक्रम में भी दाखिला लिया।
अधिकतम ऑनलाइन सर्टिफिकेट का विश्व रिकॉर्ड: पीजी में दाखिले के बाद रेहना मैनेजमेंट की पढ़ाई भी करना चाहती थीं। एडमिशन के लिए सामान्य प्रवेश परीक्षा (CAT) की तैयारी के बाद रेहना को कैट की परीक्षा में भी सफलता मिली। रेहना अपने बैच में एकमात्र मलयाली छात्रा थीं। उन्होंने एमबीए प्रोग्राम में जामिया मिलिया इस्लामिया में एडमिशन लिया। अध्ययन के प्रति रेहना के उत्साह का आलम ये रहा कि एक दिन में उन्होंने अधिकतम ऑनलाइन सर्टिफिकेट का विश्व रिकॉर्ड बना दिया है। रेहना ने कुल 81 सर्टिफिकेट हासिल किए हैं।
छोटी बहन ने किया इंस्पायर: कोट्टायम जिले के इल्लीकल की रहने वाली रेहना के संबंध में न्यू इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, उनकी बहन नेहला ने उन्हें प्रेरित किया। नेहला अपनी बहन को प्यार से ‘ईथा’ बुलाती हैं। लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स से ऑपरेशनल रिसर्च में मास्टर डिग्री लेने के बाद नेहला नौकरी करती रहीं। रेहना बताती हैं कि नेहला हमेशा अध्ययनशील रहीं। उसे देखने के बाद उन्होंने खुद भी एक औसत छात्र का टैग हटाने की कसम खाई थी।
सेंट्रल यूनिवर्सिटी से मामूली अंतर से चूकीं: रेहना बताती हैं कि जब उनकी बहन को दिल्ली के लेडी श्रीराम कॉलेज में एडमिशन मिला उस समय वे खुद भी केंद्रीय विश्वविद्यालय में प्रवेश पाने के लिए अपनी किस्मत आजमाना चाहती थीं। वह मामूली अंतर से चूक गईं। बाकी इतिहास है। बकौल रेहना, एक साथ दो पीजी डिग्री हासिल करने के दौरान, उन्होंने दिल्ली में गैर सरकारी संगठन (NGO)- ‘महिला घोषणापत्र’ के साथ काम किया। ये संगठन महिला सशक्तिकरण के लिए काम करता है।
सपने देखने के बजाय प्रयास करने की जरूरत: एक दिन में सबसे अधिक सर्टिफिकेट का वर्ल्ड रिकॉर्ड कायम करने वाली रेहना बताती हैं कि CAT की परीक्षा पास करने के बाद उन्हें एहसास हुआ कि वे पढ़ाई में अच्छे नंबर ला सकती हैं। उन्होंने कहा, सिर्फ सपने देखने के बजाय प्रयास करने की जरूरत है। बकौल रेहना, वे सर्टिफिकेशन कोर्स करके अपना repertoire बढ़ाना चाहती हैं। गौरतलब है कि एक दिन में अधिकतम ऑनलाइन प्रमाण पत्र का पिछला विश्व रिकॉर्ड 75 था।
पिता की सर्जरी, छोड़ दी लाखों की नौकरी: वर्ल्ड रिकॉर्ड होल्डर रेहना ने हाल ही में दुबई में मैनेजमेंट प्रोफेशनल की शानदार नौकरी छोड़ दी। इसका मकसद पिता पीएम शाहजहां की देखभाल करना था। रेहना के पिता की ट्रांसप्लांट सर्जरी हुई है। रेहना के परिवार में पिता, मां सीएम रफीथ और पति इब्राहिम रियाज हैं। हसबैंड आईटी इंजीनियर हैं। रेहना बताती हैं कि उनका परिवार और उनकी बहन सर्वोच्च प्राथमिकता है। फैमिली उसका सपोर्ट सिस्टम है। परिवार से रेहना को सितारों तक पहुंचने की हिम्मत और प्रेरणा मिलती है।